
सरकारी नियमों को ताक में रखकर समाज बना रहा दबाव
वंश सुथार छात्रावास समिति बिना अनुमति के फेंका स्कूल का सामान इधर-उधर

शिवगंज । शहर के केसरपुरा मार्ग पर वंश सुथार विश्वकर्मा छात्रावास में संचालित हो रहे स्कूल को समाज की ओर से खाली करवाने के विवाद के बीच बुधवार को स्कूल संचालक शिवकुमार सुथार ने पहली बार मीडिया के सामने आकर अपना पक्ष रखा। उन्होंने कहा कि समाज की ओर से उन्हें यह भवन दस वर्ष के लिए दिया गया था। लेकिन अब समाज के कुछ लोग अपनी स्वार्थपूर्ति के लिए उन्हें बेदखल कर वे खुद यहां दूसरी स्कूल का संचालन करना चाहते हैं। उन्होंने खुलासा किया कि उन्होंने दिसंबर 2025 तक का किराया छात्रावास समिति को जमा करवा रखा है। बावजूद इसके उन्हें बल पूर्वक बेदखल करने का प्रयास किया जा रहा है।

सुथार ने बताया कि शिक्षा विभागीय नियमों के अनुसार विद्यालय स्थानांतरित करने की एक प्रक्रिया होती है। उस प्रक्रिया को पूर्ण करने तथा विभागीय आदेशों के बाद ही स्कूल को अन्यत्र स्थानांतरित किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2017-18 में छात्रावास भवन को छात्रावास समिति ने मौखिक रूप से 10 वर्ष के लिए दिया था। उस समय यह तय किया गया था कि छात्रावास कार्यकारिणी में तीन वर्ष के अंतराल
में बदलाव होने की वजह से तीन-तीन वर्ष का किरायानामा बनाया जाएगा। उन्होंने हमेशा ही निर्धारित समय में किराया एडवांस में जमा कराया है तथा अभी भी दिसंबर 2025 तक किराया एडवांस जमा है। स्कूल में करीब 500 बच्चे अध्यनरत हैं। ऐसे में स्कूल की प्रगति देख कर समिति के कुछ पंच व्यक्तिगत ईष्यां रखते हैं एवं समाज को भ्रमित कर रहे है। आरोप लगाया कि समाज के एक-दो व्यक्ति ऐसे भी हैं, जो पदाधिकारी है, उनके बच्चे स्कूल में 4 वर्ष से पढ़ते हैं। उनसे जब फीस मांगी गई तो उन्होंने फीस देने से इंकार कर दिया और फीस भी नहीं दी।समाज से बहिष्कृत करने की दी जा रही धमकी
स्कूल संचालक शिवकुमार सुथार ने बताया कि उनके समाज के पंच उन्हें स्कूल खाली नहीं करने पर समाज से कथित बहिष्कृत करने व दंडित करने तक की धमकी दे रहे है। 7 जून को भी विश्वकर्मा मंदिर परिसर में सामाजिक भोज का आयोजन करवाया, जिसमें समाज के 500-600 लोग उपस्थित थे। इसमें भी समाज के सामने उन्हें बेइज्जत कर प्रताड़ित किया। कुछ लोगों ने विद्यालय भवन का कब्जा हथियाने के लिए जबरन अंदर घुसे तथा कैमरे व फर्नीचर वगैरा क्षतिग्रस्त कर दिया। इसकी रिपोर्ट भी पुलिस को दी गई।
